सर्वदलीय बैठक : विपक्ष ने अदाणी समूह, जाति गणना, महिला विधेयक का मुद्दा उठाया, सरकार ने मांगा सहयोग

नयी दिल्ली. संसद के बजट सत्र से पहले सोमवार को सरकार द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में विपक्षी दलों ने अदाणी समूह, जाति आधारित गणना और महिला आरक्षण विधेयक पारित कराने का मुद्दा उठाया. वहीं, सरकार ने कहा कि वह संसद में नियमों के तहत हर मुद्दे पर चर्चा करने के लिए तैयार है और सरकार से सदन सुचारू रूप से चलाने में सहयोग चाहती है.

संसदीय कार्य मंत्री प्र‘‘ाद जोशी ने सर्वदलीय बैठक के बाद कहा, ‘‘ सरकार संसद में नियमों के तहत हर मुद्दे पर चर्चा करने के लिए तैयार है, हम विपक्ष का सहयोग चाहते हैं.’’ उन्होंने कहा कि संसद सत्र कल (मंगलवार) से प्रारंभ हो रहा है, इसलिये रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक बुलाई गई. जोशी ने बताया कि इस बैठक में 27 राजनीतिक दलों के 37 नेताओं ने हिस्सा लिया.

बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल, संसदीय कार्य मंत्री प्र‘‘ाद जोशी और संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल मौजूद थे. इसमें राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के शरद पवार, नेशनल कांफ्रेंस के फारूख अब्दुल्ला, आम आदमी पार्टी (आप) के संजय सिंह, द्रमुक के टी आर बालू, तृणमूल कांग्रेस के सुदीप बंदोपाध्याय, अन्नाद्रमुक के थम्बीदुरै, शिवसेना से प्रियंका चतुर्वेदी आदि शामिल हुए.

समझा जाता है कि बैठक में आम आदमी पार्टी के संजय सिंह, राष्ट्रीय जनता दल के मनोज झा सहित द्रमुक, वाम दलों आदि ने अदाणी समूह से जुड़ा मुद्दा उठाया और संसद सत्र के दौरान इस पर चर्चा कराने की मांग की. गौरतलब है कि अमेरिकी फॉरेंसिक फÞाइनेंशियल कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने अदाणी समूह पर धोखाधड़ी के आरोप लगाए थे, जिसके बाद समूह की कंपनियों के शेयरों में पिछले कुछ दिन में भारी गिरावट आई है. अदाणी समूह ने हिंडनबर्ग रिसर्च के आरोपों के जवाब में रविवार को 413 पृष्ठ का ‘स्पष्टीकरण’ जारी किया है.

इसके साथ ही सर्वदलीय बैठक में युवाजन श्रमिक रायतु कांग्रेस पार्टी (वाईएसआर कांग्रेस) ने राष्ट्रीय स्तर पर जाति आधारित आर्थिक गणना कराने की मांग की. पार्टी ने कहा कि पिछड़े वर्गों की आर्थिक स्थिति के बारे में जानकारी जरूरी है ताकि यह पता लगाया जा सके कि सामाजिक एवं विकास सूचकांक में कौन सा वर्ग पीछे है.

वाईएसआर कांग्रेस के विजयसाई रेड्डी ने संवाददाताओं से कहा कि देश की आबादी में पिछड़े वर्गों की हिस्सेदारी 50 प्रतिशत है और राष्ट्रव्यापी जाति आधारित आर्थिक गणना से इन वर्गो की आर्थिक स्थिति का पता लगाने में मदद मिलेगी. समझा जाता है कि बैठक के दौरान इस विषय पर आंध्र प्रदेश की सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस को जदयू, राजद का समर्थन मिला . जदयू और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) ने भी जाति आधारित जनगणना कराने की मांग की.

बिहार में जदयू और राजद महागठबंधन सरकार ने राज्य स्तर पर जाति आधारित गणना शुरू करायी है. रेड्डी ने कहा कि उनकी पार्टी ने संसद में महिला आरक्षण विधेयक पारित कराना सुनिश्चित करने की भी मांग की है. बैठक में महिला आरक्षण विधेयक संबंधी मांग का तेलंगाना राष्ट्र पार्टी (टीआरएस), तृणमूल कांग्रेस, बीजू जनता दल ने भी समर्थन किया.

बीजद के सस्मित पात्रा ने कहा कि इस सत्र में महिला आरक्षण विधेयक प्राथमिकता रहेगा, हम इस विधेयक को पारित कराने की मांग करते रहे हैं और इस मुद्दे पर समान विचारों वाली पार्टियों के साथ आम सहमति बनायेंगे. सरकार ने बजट सत्र से पहले विभिन्न विषयों पर आम राय बनाने के लिये सोमवार (30 जनवरी) को राजनीतिक दलों के सदन के नेताओं की सर्वदलीय बैठक बुलायी थी.

संसद का बजट सत्र 31 जनवरी से शुरू होगा. इस दिन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू लोकसभा और राज्यसभा के संयुक्त सत्र को संबोधित करेंगी. 31 जनवरी को ही सरकार आर्थिक सर्वेक्षण पेश करेगी. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण एक फरवरी, 2023 को वित्त वर्ष 2023-24 का केंद्रीय बजट पेश करेंगी. बजट सत्र का पहला चरण 13 फरवरी तक चलेगा और दूसरा चरण 13 मार्च से शुरू होकर छह अप्रैल तक चलेगा. बजट सत्र के दौरान 27 बैठक होंगी.

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