शराब की इजाजत सिर्फ IPL और निवेशक सम्मेलन में, मैरिज हॉल में नहीं: तमिलनाडु के मंत्री

चेन्नई. तमिलनाडु सरकार ने सोमवार को ‘मैरिज हॉल’ (विवाह समारोह स्थल) में शराब परोसने की अनुमति देने से इनकार कर दिया.
वहीं विपक्षी दलों ने पूर्ण शराबबंदी नीति को कमजोर करने के सत्तारूढ़ द्रमुक के कदम की आलोचना की. विद्युत, निषेध एवं आबकारी मंत्री वी.सेंथिल बालाजी ने कहा कि देश के अन्य हिस्सों में प्रचलित नियमों के अनुरूप अंतरराष्ट्रीय खेल आयोजनों जैसे इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) और वैश्विक निवेशक बैठक (जीआईएम) में ‘‘आवश्यकता के आधार पर’’ शराब परोसने की अनुमति देने के लिए नियमों में ढील दी गई.

बालाजी ने कोयंबटूर में संवाददाताओं को बताया, ‘‘सरकार ने अन्य राज्यों की तरह आईपीएल और जीआईएम जैसे अंतरराष्ट्रीय आयोजनों में ही शराब परोसने की अनुमति दी है. इसे वैवाहिक कार्यक्रमों में परोसने की अनुमति नहीं दी जा सकती है.’’ सरकार की तरफ से हालांकि 18 मार्च 2023 को जारी अधिसूचना में कहा गया है कि तमिलनाडु शराब (लाइसेंस और परमिट) नियमावली, 1981 में संशोधन किया गया है ताकि अंतरराष्ट्रीय/ राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन में और कार्यक्रम/बैठकों/उत्सव/त्योहार आदि पर शराब रखने और मेहमानों, आगंतुकों और प्रतिभागियों को शराब परोसने के लिये विशेष लाइसेंस प्रदान किया जा सके.

अधिसूचना के मुताबिक, ‘‘एक या अधिक दिनों की एक विशिष्ट समयावधि के लिए वैध विशेष अनुमति उपायुक्त/सहायक आयुक्त (आबकारी) द्वारा जिला कलेक्टर के पूर्व अनुमोदन से निर्दिष्ट लाइसेंस शुल्क के भुगतान पर जारी की जाएगी.’’ पूर्ण निषेध के वादे के बावजूद 12 घंटों के लिये शराब दुकानें खोले जाने के लिये सत्ताधारी द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) की कड़ी आलोचना करते हुए अन्नाद्रमुक के महासचिव के. पालानीस्वामी ने कहा कि सरकार ने अब विवाह स्थलों और स्टेडियम में शराब की बिक्री की इजाजत दे दी है.

उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘इसने युवाओं को शराब का आदी बनाकर उनका भविष्य बर्बाद कर दिया है.’’ भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष के. अन्नामलाई ने भी सरकार की इस मुद्दे पर आलोचना की और कहा कि द्रमुक चरणबद्ध तरीके से शराब की दुकानों को बंद करने के आश्वासन के साथ सत्ता में आई थी लेकिन अब हर साल शराब बिक्री का लक्ष्य बढ़ा रही है. अम्मा मक्काल मुनेत्र कषगम (एएमएमके) ने भी राज्य सरकार की इस मुद्दे पर आलोचना की है. पार्टी के महासचिव टी टी वी दिनाकरन ने कहा कि तमिलनाडु शराब (लाइसेंस और परमिट) नियमावली, 1981 में संशोधन के बाद बच्चे और युवा शराब के नशे में वाहन चलाएंगे जिससे उनकी और दूसरे लोगों की जान को खतरा होगा.

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