रायथु बंधु योजना की किस्त जारी करने के मुद्दे को लेकर कांग्रेस-बीआरएस में आरोप-प्रत्यारोप

नयी दिल्ली/हैदराबाद. निर्वाचन आयोग ने सोमवार को रायथु बंधु योजना के तहत रबी फसलों के लिए किसानों को दी जाने वाली वित्तीय सहायता की किस्त बांटने के लिए तेलंगाना सरकार को दी गयी अनुमति वापस ले ली. इसके बाद प्रदेश में 30 नवंबर को होने वाले चुनाव से पहले कांग्रेस और सत्ताधारी भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) में आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया.

निर्वाचन आयोग की कार्रवाई तब हुई जब रविवार को एक कांग्रेस नेता ने राज्य के वित्त मंत्री द्वारा रबी किस्त के बारे में सार्वजनिक घोषणा करने के बाद बीआरएस को चुनाव अभियान के दौरान योजना के तहत धन के वितरण का उल्लेख करने से रोकने का अनुरोध किया. रायथु बंधु भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) सरकार का प्रमुख कार्यक्रम है, जिसके तहत किसानों को प्रति एकड़ निवेश सहायता के रूप में दो किस्तों (खरीफ और रबी) में सालाना 10,000 रुपये का भुगतान किया जाता है.

इससे पहले, निर्वाचन आयोग ने 24 नवंबर को राज्य सरकार को 28 नवंबर से पहले राशि वितरित करने के लिए हरी झंडी दे दी थी.
अभियान के अंतिम चरण में यह मुद्दा एक बड़े विवाद में बदल गया और निर्वाचन आयोग ने सोमवार को धन के वितरण की अनुमति वापस ले ली. इस पर बीआरएस ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने किसानों से भुगतान ह्लछीनह्व लिया है.

बीआरएस की विधान परिषद सदस्य के.कविता ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ह्ल कांग्रेस की गंदी राजनीति एक बार फिर सामने आ गई है. वे रायथु बंधु के भुगतान में देरी कर रहे हैं जो निरंतर जारी रहने वाली प्रक्रिया है. यह कोई चुनावी वादा नहीं है. यह कोई नया कार्यक्रम नहीं है जिसे चुनाव के लिए बनाया गया हो.ह्व तेलंगाना कांग्रेस के वरिष्ठ उपाध्यक्ष जी. निरंजन ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त (सीईसी) राजीव कुमार को संबोधित एक पत्र में आरोप लगाया था कि बीआरएस नेता मतदाताओं को ह्लप्रभावित करने के तरीकेह्व के रूप में धन के वितरण के लिए निर्वाचन आयोग की मंजूरी को ऐसे दिखा रहे थे जैसे कि वे इसे अपनी जेब से दे रहे हों.

कांग्रेस ने इस स्थिति के लिए बीआरएस को जिम्मेदार ठहराया और आरोप लगाया कि राज्य पर शासन करने वाले लोग, सत्ता पर बने रहने की हताशा में, किसानों के हक से इनकार कर रहे हैं. कांग्रेस ने आरोप लगाया कि के चंद्रशेखर राव के नेतृत्व वाली पार्टी के गैर-जिम्मेदाराना और संकीर्ण दृष्टिकोण के कारण निर्वाचन आयोग ने ‘रायथु बंधु’ योजना की किस्तों के वितरण की अनुमति देने से इनकार कर दिया.

अपने आदेश में, निर्वाचन आयोग ने कहा कि राज्य मंत्री टी. हरीश राव ने चुनाव के लिए आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन किया है और योजना के तहत धन जारी करने के बारे में बोलकर ह्लसभी के लिये समान अवसर को बाधित कियाह्व. निर्वाचन आयोग ने राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) को लिखे पत्र में कहा, ह्लआयोग ने पाया है कि तेलंगाना सरकार के वित्त और स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री टी. हरीश राव ने न केवल एमसीसी (आदर्श आचार संहिता) के प्रावधानों का उल्लंघन किया है बल्कि इसका प्रचार कर उपरोक्त शर्तों को भी तोड़ा है. इसमें राज्य में चल रही चुनाव प्रक्रिया में विभिन्न दलों के लिए समान अवसर को भी बाधित किया गया है.”

वित्त मंत्री ने किस्तों का भुगतान जारी करने के बारे में सार्वजनिक घोषणा की थी. उन्होंने कथित तौर पर कहा था, ह्लकिस्त सोमवार को दी जाएगी. किसानों का चाय-नाश्ता खत्म होने से पहले ही उनके खाते में राशि जमा हो जाएगी.ह्व कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि केसीआर के मंत्री ने ही आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन किया है.

कांग्रेस पार्टी ने कहा, ह्लकेसीआर कांग्रेस पार्टी पर आरोप लगाकर रायथु बंधु पर तेलंगाना के लोगों से झूठ बोल रहे थे.ह्व खरगे ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ह्लचुनाव के दौरान निर्वाचन आयोग द्वारा रायथु बंधु संवितरण को रोक दिया गया है.ह्व उन्होंने मेडक में एक रैली में कहा, ह्लयह कांग्रेस पार्टी है जो चाहती थी कि लाभार्थियों को पैसा अंतरित किया जाना चाहिए, लेकिन केसीआर सरकार ने ऐसा नहीं किया. कांग्रेस पार्टी सदैव किसानों के साथ खड़ी है.ह्व कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ”तेलंगाना पर शासन करने वाले ‘गैंग ऑफ 4’ के अलावा किसी और को दोषी नहीं ठहराया जा सकता, जिन्होंने सत्ता पर बने रहने की अपनी हताशा में किसानों का बकाया राशि देने से इनकार कर दिया है.”

पार्टी के संगठन महासचिव के.सी. वेणुगोपाल ने यह आरोप भी लगाया कि बीआरएस ने यह एक और ‘पाप’ किया है जिसे तेलंगाना के किसान कभी माफ नहीं करेंगे. वेणुगोपाल ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ह्लबीआरएस और हरीश राव के गैर-जिम्मेदाराना और संकीर्ण स्वार्थी दृष्टिकोण के कारण चुनाव आयोग ने रायथु बंधु किस्तों के वितरण की अनुमति देने से इनकार कर दिया है.ह्व कविता ने कहा कि कांग्रेस बार-बार इस कार्यक्रम को लेकर शिकायत कर रही है .

बीआरएस नेता ने कहा कि वह राज्य के किसानों से अनुरोध करती हैं कि वे स्थिति पर गौर करें और इस हकीकत को समझ लें कि कांग्रेस ‘दुश्मन’ है जिसने रायथु बंधु और किसान कर्ज माफी के तहत भुगतानों को उनसे छीना है. इस बीच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में तेलंगाना कांग्रेस प्रमुख रेवंत रेड्डी ने आरोप लगाया कि ह्लबीआरएस एक फर्जी पत्र के जरिये सोशल मीडिया पर झूठा प्रचार कर रही है, कि मैंने पीसीसी अध्यक्ष की हैसियत से रायथु बंधु के खिलाफ लिखा है.ह्व तेलंगाना में 30 नवंबर को मतदान होना है. चुनाव के नतीजे तीन दिसंबर को आएंगे.

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