एक भारत, श्रेष्ठ भारत पर आधारित मन की बात में प्रधानमंत्री ने आम लोगों की उपलब्धियां रेखांकित की: अनुराग ठाकुर

प्रधानमंत्री मोदी की मन की बात ने युवा पीढ़ी को प्रेरित किया, आकाशवाणी को जीवंत बनाया : अमित शाह

नयी दिल्ली. सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने बुधवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘मन की बात’ कार्यक्रम की रचना एक भारत, श्रेष्ठ भारत की विषयवस्तु पर आधारित है और इस कार्यक्रम ने जनसंचार के मूल माध्यम रेडियो के जरिये आम भारतीयों की उपलब्धियों को रेखांकित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी है.

‘मन की बात एट 100’ सम्मेलन को संबोधित करते हुए ठाकुर ने कहा कि मन की बात के माध्यम से प्रधानमंत्री का उद्देश्य भारत के विचार को आगे बढ़ाना तथा भारतीयों की उपलब्धियों को जन जन तक पहुँचाना है. उन्होंने कहा, ‘‘चाहे कोई भी विषय हो…स्वच्छता, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, जल संरक्षण, फिट इंडिया, नशे से दूरी बनाना, महिला सशक्तिकरण- हर महीने नागरिकों तक अपने विचारों को पहुंचाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस दिशा में काम किया है और वे नागरिकों से सुझाव भी लेते हैं.’’

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि 100 करोड़ के लगभग भारतीयों ने कभी ना कभी ‘मन की बात’ को सुना है और बड़ी संख्या में ऐसे लोग हैं जो लगातार मन की बात को सुनते हैं, जुड़ते भी हैं. ठाकुर ने कहा कि ‘मन की बात’ कार्यक्रम की रचना एक भारत, श्रेष्ठ भारत की विषयवस्तु पर आधारित है और इस कार्यक्रम ने जनसंचार के मूल माध्यम रेडियो के जरिये आम भारतीयों की उपलब्धियों को रेखांकित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी है.

मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात कार्यक्रम में अब तक 700 से अधिक व्यक्तियों एवं संगठनों का उल्लेख किया है और उनकी उपलब्धियों और गौरवपूर्ण क्षणों को साझा किया है. ठाकुर ने कहा कि हिमाचल जैसे छोटे राज्य में किन्नौर से सोलन जिले के चंबा तक छोटे छोटी जगह का उल्लेख भी प्रधानमंत्री मोदी जी ने मन की बात में किया.

वहीं, सूचना एवं प्रसरण सचिव अपूर्व चंद्रा ने कहा कि आज के कार्यक्रम में उपलब्धि हासिल करने वाले 106 लोगों की मौजूदगी सामुदायिक हिस्सेदारी के जरिये सामाजिक बदलाव लाने की प्रधानमंत्री की सोच को दर्शाते हैं. मन की बात एट 100’ सम्मेलन के उद्घाटन के बाद 4 सत्र आयोजित किये गए हैं जिसमें मन की बात के दौरान प्रधानमंत्री की बातचीत के व्यापक विषयों पर प्रकाश डाला गया . सत्र एक “नारी शक्ति” विषय पर आधारित था जबकि दूसरा सत्र “विरासत का उत्थान” विषय पर, सत्र तीन “जन संवाद से आत्मानिर्भरता” विषय और समापन सत्र से पहले अंतिम सत्र का विषय “आ’’ान से जन आंदोलन” है.

प्रधानमंत्री मोदी की मन की बात ने युवा पीढ़ी को प्रेरित किया, आकाशवाणी को जीवंत बनाया : अमित शाह
गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘मन की बात’ आकाशवाणी को युवा पीढ़ी तक ले गई और इस कार्यक्रम की खूबी यह है कि प्रधानमंत्री ने इसकी 99 कड़ियों में एक भी राजनीतिक मुद्दे का जिक्र नहीं किया. शाह ने ‘मन की बात@100’ सम्मेलन के समापन सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने जन संवाद के जरिए लोगों तक बराबर ‘मन की बात’ पहुंचाई और आकाशवाणी को माध्यम बनाया व लोगों से जोड़ने का काम किया.

उन्होंने कहा कि देश की शक्ति को संगठित करने का काम इस मंच (मन की बात) के जरिये किया गया. गृह मंत्री ने कहा, ‘‘ प्रधानमंत्री मोदी की ‘मन की बात’ आकाशवाणी को युवा पीढ़ी तक ले गई ‘मन की बात’ कार्यक्रम की खूबी यह है कि नरेन्द्र मोदी जैसे राजनीतिक व्यक्ति ने इसकी 99 कड़ियों में एक भी राजनीतिक मुद्दे का जिक्र नहीं किया.’’ उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में प्रधानमंत्री मोदी का बड़ा योगदान जाति की राजनीति, भाई-भतीजावाद, तुष्टिकरण की समाप्ति और पद्म पुरस्कारों का लोकतंत्रीकरण करना है शाह ने कहा कि मन की बात’ कार्यक्रम की आधे घंटे की कड़ी करोड़ों लोगों को राष्ट्र के प्रति योगदान देने के लिए प्रेरित करती है. उन्होंने कहा कि मन की बात लोकतंत्र की बुनियाद पर आधारित है और नेता एवं लोगों के बीच मजबूत संवाद से लोकतंत्र मजबूत होता है. गृह मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी हर चुनौती को अवसर में बदलते हैं.

भारत में जबरन चुप करवाने के दावों पर पीड़ा होती है : उपराष्ट्रपति

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी की ‘जबरन चुप कराने’ की टिप्पणी पर तंज करते हुए बुधवार को कहा कि भारत में जितनी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता है, उतनी दुनिया के किसी और स्थान पर नहीं मिल सकती. ‘मन की बात एट 100’ सम्मेलन के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए धनखड़ ने आकाशवाणी पर प्रसारित होने वाले इस मासिक कार्यक्रम को राजनीति से दूर रखने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सराहना की. उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम देश के लिए उम्मीद की किरण और हर आदमी की दिल की बात बन गई है.

उन्होंने कुछ लोगों के देश में या बाहर जाकर ‘शुतुरमुर्ग वाला रूख अख्तियार करने की आलोचना की और पूछा कि हम अपनी उपलब्धियों को कैसे नजरंदाज कर सकते हैं? सोनिया गांधी के हाल के लेख ‘इंफोर्स्ड साइलेंस’ के परोक्ष संदर्भ में धनखड़ ने कहा कि भारत में जितनी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता है, उतनी दुनिया के किसी और स्थान पर नहीं मिल सकती.

उन्होंने कहा, ‘‘ मुझे यह देखकर कई बार पीड़ा होती है कि हमारा बुद्धिजीवी वर्ग क्या कर रहा है. जबरन चुप करने को लेकर लम्बे लेख लिखे जा रहे हैं. देश में जबरन चुप कैसे किया जा सकता है. इतनी अधिक अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता दुनिया के किसी और स्थान पर नहीं मिल सकती है. ’’ उद्घाटन सत्र में सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकर और सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय में सचिव अपूर्व चंद्र तथा प्रसार भारती के मुख्य कार्यकारी अधिकारी गौरव द्विवेदी भी मौजूद थे.

उपराष्ट्रपति ने कहा कि उन्हें कई बार तरस आता है और इस बात पर ंिचतन, मंथन करन पड़ता है कि हमारे ही कुछ लोग देश में या बाहर जाकर क्यों ‘शुतुरमुर्ग वाला रूख’ अख्तियार करते हैं ? वे क्यों दीवार पर लिखी इबारत को नहीं देखते ? उन्होंने कहा, ‘‘ मुझे तो बड़ा अजीब लगता है . मुझसे ज्यादा इस बात को कौन जनता है क्योंकि मैं उच्च सदन का अध्यक्ष हूं जो अधिकांश रूप से बाधित रहती है. लेकिन वहां बोलने की पूरी स्वतंत्रता रहती है.’’ उन्होंने कहा कि 1989 में जब वे पहली बार सांसद बने तब उन्हें लगा कि उनके पास काफी ताकत आ गई है क्योंकि वे हर साल 50 गैस कनेक्शन दे सकते थे.

धनखड़ ने कहा, ‘‘ लेकिन मन की बात के शिल्पकार ने 15 करोड़ गैस कनेक्शन दिये और वह भी मुफ्त. यह एक बड़ी उपलब्धि है.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ विजयदशमी के पावन अवसर पर साल 2014 में प्रधानमंत्री ने एक नायाब शुरुआत की – मन की बात. उनके ‘मन की बात’ हर आदमी के ‘दिल की बात’ बन जाती है.’’ उन्होंने कहा कि मन की बात ने रेडियो को जीवंत बना दिया क्योंकि इतने प्रौद्योगिकी विकास के कारण रेडिया पृष्ठभूमि में चला गया था, अब वह आगे आ गया. उन्होंने कहा कि आज आयोजित इस कार्यक्रम के चार सत्र हैं जिसमें पहला नारी शक्ति है.

उपराष्ट्रपति ने कहा, ‘‘ देश में नारी शक्ति का उत्थान हो रहा है… जिन क्षेत्रों में पहले उनका पदार्पण नहीं था, अब वहां भी उनकी मजबूत उपस्थिति है. उन्होंने कहा कि हमें आधी आबादी को उनका हक देना ही होगा… इस दिशा में ‘बेटी बचाओ- बेटी पढ़ाओ’ एक महत्वपूर्ण जन-अभियान है.

विरासत के उत्थान का उल्लेख करते हुए धनखड़ ने कहा कि प्रधानमंत्री ने लुक ईस्ट, एक्ट ईस्ट की बात कही. देश के पूर्वोत्तर भाग में संस्कृति, प्राकृतिक सौंदर्य का कितना बड़ा खजाना अनसुना अनदेखा था और अब इस दिशा में काम शुरू हो गया है. उन्होंने कहा कि पर्यटन के लिए लोग यूरोप- स्विट्जरलैंड जा रहे हैं, पर अपने देश को ठीक से नहीं जानते. उन्होंने कहा कि पहले हमें अपने देश के प्राकृतिक सौंदर्य और सांस्कृतिक विरासत को देखना-समझना चाहिए.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आकाशवाणी पर प्रसारित होने वाले मासिक ‘मन की बात’ कार्यक्रम की 100वीं कड़ी आगामी रविवार को प्रसारित होगी. उपराष्ट्रपति ने ‘मन की बात एट 100’ पर एक कॉफी टेबल पुस्तिका और प्रसार भारती के पूर्व मुख्य कार्यकारी अधिकारी एस एस वेम्पती की पुस्तक ‘ कलेक्टिव स्पिरिट, कंक्रीट एक्शन’ का विमोचन किया.

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