प्रधानमंत्री को ‘माफीवीर’ बनना होगा, ‘अग्निपथ’ योजना वापस लेनी पड़ेगी : राहुल गांधी
नयी दिल्ली. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शनिवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जिस तरह विवादित कृषि कानूनों को वापस लेना पड़ा था, उन्हें ठीक उसी तरह ‘अग्निपथ’ रक्षा भर्ती योजना को वापस लेकर युवाओं की मांग स्वीकार करनी होगी. पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष ने यह भी कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार आठ वर्षों से ‘जय जवान, जय किसान’ के मूल्यों का लगातार ‘‘अपमान’’ कर रही है. कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने भी अग्निपथ योजना को लेकर सरकार पर हमला तेज कर दिया और केंद्र से सशस्त्र बलों में भर्ती की तैयारी कर रहे ग्रामीण युवाओं के दर्द को समझने का आग्रह किया.
‘अग्निपथ’ योजना के विरोध के बीच शुक्रवार को कुछ राज्यों में राजमार्ग और रेलवे स्टेशन पर ंिहसा देखी गई. इस दौरान तेलंगाना के सिकंदराबाद में पुलिस की गोलीबारी में एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि कुछ शहरों में रेलगाड़ियों में आग लगाए जाने और निजी एवं सार्वजनिक वाहनों में तोड़फोड़ किए जाने की घटनाएं सामने आई हैं.
राहुल ने ट्वीट किया, ‘‘आठ वर्षों से भाजपा सरकार ने ‘जय जवान, जय किसान’ के मूल्यों का लगातार अपमान किया है. मैंने पहले भी कहा था कि प्रधानमंत्री जी को काले कृषि कानून वापस लेने पड़ेंगे. ठीक उसी तरह उन्हें ‘माफीवीर’ बनकर देश के युवाओं की बात माननी पड़ेगी और ‘अग्निपथ’ को वापस लेना ही पड़ेगा.’’ वाद्रा ने कहा, ‘‘सेना में भर्ती की तैयारी करने वाले ग्रामीण युवाओं का दर्द समझिए. तीन साल से भर्ती नहीं निकली. युवाओं के पैरों में दौड़-दौड़ के छाले पड़ गए. वे निराश-हताश हैं.’’
उन्होंने कहा, ‘‘युवा वायुसेना में भर्ती के परिणाम एवं नियुक्ति का इंतजार कर रहे थे. सरकार ने उनकी स्थायी भर्ती, रैंक, पेंशन, रुकी भर्ती- सब छीन लिया.’’ वाद्रा ने सशस्त्र बलों में भर्ती को लेकर देरी के संबंध में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को लिखे एक पत्र की प्रति भी साझा की. इस पत्र के जरिए उन्होंने सिंह से आग्रह किया कि वह यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक कदम उठाएं कि सेना में भर्ती होने के आकांक्षी युवाओं की कड़ी मेहनत का सम्मान किया जाए. उन्होंने 29 मार्च को लिखे पत्र के जरिए सशस्त्र बलों में भर्ती को लेकर युवाओं के सामने आ रही समस्याओं का मुद्दा उठाया था.
सरकार ने मंगलवार को इस योजना की शुरुआत करते हुए कहा था कि साढ़े सत्रह साल से 21 साल तक की उम्र के युवाओं को संविदा के आधार पर चार साल के कार्यकाल के लिए थलसेना, वायुसेना और नौसेना में भर्ती किया जाएगा. सरकार ने कहा था कि रक्षा जरूरतों के आधार पर 25 प्रतिशत जवानों को नियमित सेवा के लिए बरकरार रखा जाएगा.
‘अग्निपथ’ योजना को लेकर बढ़ते विरोध के मद्देनजर भर्ती के लिए ऊपरी आयु सीमा बृहस्पतिवार को बढ़ाकर 23 साल कर दी गई थी.
नयी भर्ती योजना को सरकार ने तीनों सेनाओं में युवाओं की संख्या बढ़ाने के लिए दशकों पुरानी चयन प्रक्रिया में एक बड़े बदलाव के रूप में पेश किया है.
सोनिया गांधी ने ‘अग्निपथ’ योजना को ‘दिशाहीन’ बताया
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सशस्त्र बलों में भर्ती के लिए केंद्र की ‘अग्निपथ’ योजना को शनिवार को ‘दिशाहीन’ बताया और कहा कि उनकी पार्टी इसे वापस करवाने के लिए संघर्ष का वादा करती है. उन्होंने इस योजना का विरोध कर रहे युवाओं से अपनी मांगों के लिए शांतिपूर्ण और अंिहसक ढंग से आंदोलन करने की अपील की.
देश के युवाओं के नाम एक संदेश में गांधी ने कहा, ‘‘मुझे दुख है कि सरकार ने आपकी आवाज को दरकिनार करते हुए ‘‘सशस्त्र बलों में भर्ती के लिए नई योजना’’ की घोषणा की, जोकि पूरी तरह से दिशाहीन है.’’ उनके लिए अपनी पार्टी के समर्थन की घोषणा करते हुए, कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि युवाओं के साथ-साथ, कई पूर्व सैनिकों और रक्षा विशेषज्ञों ने भी इस योजना पर सवाल उठाये हैं. कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी यहां के एक अस्पताल में भर्ती हैं और श्वास नली में संक्रमण और कोविड-19 के बाद की जटिलताओं के लिए उनका उपचार जारी है और वह चिकित्सकों की सघन निगरानी में हैं.
गांधी ने कहा कि वह सेना में लाखों पद खाली होने के बावजूद भर्ती में ‘‘तीन साल की देरी’’ को लेकर युवाओं के दर्द को समझ सकती हैं. उन्होंने कहा, ‘‘वायुसेना में भर्ती की परीक्षा देकर परिणाम और नियुक्ति का इंतजार कर रहे युवाओं के साथ भी मेरी पूरी सहानुभूति है.’’ कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ‘‘कांग्रेस आपके साथ पूरी मजबूती से खड़ी है और इस योजना को वापस करवाने के लिए संघर्ष करने और आपके हितों की रक्षा करने का वादा करती है.’’
गांधी ने कहा, ‘‘हम एक सच्चे देशभक्त की तरह सत्य, अंिहसा, संयम एवं शांति के मार्ग पर चलकर सरकार के सामने अपनी आवाज उठायेंगे.’’ उन्होंने कहा, ‘‘मैं आपसे भी अनुरोध करती हूं कि अपनी जायज मांगों के लिए शांतिपूर्ण एवं अंिहसक ढंग से आंदोलन करें. भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस आपके साथ है.’’ गौरतलब है कि सशस्त्र बलों में भर्ती से संबंधित ‘अग्निपथ’ योजना के खिलाफ युवा देशभर में प्रदर्शन कर रहे हैं. कई जगहों पर ंिहसक विरोध प्रदर्शन हुए हैं और उग्र युवकों ने कई जगहों पर ट्रेन में आग लगा दी और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया है.