संपत्ति के पुन: बंटवारे का मामला: देवेगौड़ा ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर साधा निशाना

कांग्रेस के घोषणापत्र में 'जिहादी' सोच और तुष्टीकरण की राजनीति शामिल: दिल्ली भाजपा प्रमुख

बेंगलुरु/नयी दिल्ली. पूर्व प्रधानमंत्री एच. डी. देवेगौड़ा ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के ”संपत्ति के पुन: बंटवारे संबंधी वादे” की आलोचना करते हुए बुधवार को कहा कि केवल कोई व्यावहारिक ज्ञान-शून्य व्यक्ति ही ऐसी बात कर सकता है. जनता दल (सेक्युलर) के प्रमुख देवेगौड़ा (90) ने कांग्रेस के घोषणा-पत्र का उपहास उड़ाते हुए दावा किया कि केवल वही पार्टी इतने सारे वादे कर सकती है, जिसे यह भलीभांति पता होता है कि वह कभी सत्ता में नहीं आयेगी.

उन्होंने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा, ”कांग्रेस ने अपने घोषणा-पत्र में बहुत सारे वादे किये हैं. केवल वही पार्टी इतने वादे करेगी, जिसे यह अच्छी तरह पता होता है कि वह कभी सत्ता में नहीं आयेगी.” उन्होंने कहा कि कांग्रेस द्वारा किये गये वादों से संकेत मिलता है कि वह ”किसी भी कीमत पर” सत्ता में आना चाहती है.

देवेगौड़ा ने कहा, ”राहुल गांधी संपत्ति का सर्वेक्षण कर संपत्ति का बंटवारा करना चाहते हैं. क्या उन्हें लगता है कि वह एक जन नेता हैं?” उन्होंने आर्थिक उदारीकरण की दिशा में पूर्व प्रधानमंत्रियों- पी. वी. नरसिंह राव और मनमोहन सिंह, के योगदान को याद करते हुए कहा, ”वह एक क्रांति का सपना देख रहे हैं. संपत्तियों के पुन: बंटवारे की बात करके राहुल गांधी ने देश के इन दो पूर्व प्रधानमंत्रियों का अपमान किया है, जिन्होंने आर्थिक सुधार कर देश की संपत्तियों को बढ़ाया था.” देवेगौड़ा ने आरोप लगाया कि गांधी ने परोक्ष रूप से यह कहने का प्रयास किया कि इन दो पूर्व प्रधानमंत्रियों ने जो किया, वह गलत था.

कांग्रेस के घोषणा-पत्र ‘न्याय पत्र’ से कुछ बिंदुओं का जिक्र करते हुए देवेगौड़ा ने कहा, ”राहुल गांधी केंद्र सरकार की 30 लाख नई नौकरियां देना चाहते हैं. मैंने भी देश चलाया है. केवल 40 लाख स्वीकृत नौकरियां हैं. वह रातोंरात 30 लाख और नौकरियां कैसे जोड़ सकते हैं. वह इन लोगों को कहां से वेतन देंगे. वह उन्हें कहां रोजगार देंगे.” उन्होंने आश्चर्य जताते हुए कहा कि क्या राहुल गांधी उन्हें सरकारी कार्यालयों में चार शिफ्ट में ‘लिफ्ट ऑपरेटर’ के रूप में नौकरी देंगे करेंगे. देवेगौड़ा ने कहा, ”केवल कोई व्यावहारिक ज्ञान-शून्य व्यक्ति ही इस तरह की बात कर सकता है. श्री (पी) चिदम्बरम घोषणा-पत्र समिति के अध्यक्ष थे. क्या वह राहुल गांधी के इन अपरिपक्व आर्थिक विचारों से सहमत हैं?”

कांग्रेस के घोषणापत्र में ‘जिहादी’ सोच और तुष्टीकरण की राजनीति शामिल: दिल्ली भाजपा प्रमुख

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की दिल्ली इकाई के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने बुधवार को कहा कि कांग्रेस के घोषणापत्र में ‘जिहादी’ सोच और ‘तुष्टीकरण’ की राजनीति शामिल है और इसका उद्देश्य ‘देश को तोड़ना है.’ यहां एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए सचदेवा ने कांग्रेस की आलोचना करते हुए कहा, ”कांग्रेस के घोषणापत्र में ‘जिहादी’ सोच और तुष्टिकरण की राजनीति की बू आ रही है. वे कहते हैं कि अगर उनकी पार्टी सत्ता में आई तो देश में संपत्ति का सर्वेक्षण कराएंगे. कांग्रेस को बताना चाहिए कि वे किस संपत्ति का जिक्र कर रहे हैं. क्या वे हमारी मां-बहनों के आभूषणों के बारे में बात कर रहे हैं?” सचदेवा ने आरोप लगाया कि लोकसभा चुनाव के लिए कांग्रेस के घोषणापत्र का उद्देश्य ‘देश को तोड़ना’ है.

यह पूछे जाने पर कि क्या कांग्रेस ‘माताओं और बहनों’ की संपत्ति जब्त करना चाहती है, इस पर सचदेवा ने कहा, ”क्या बहुसंख्यक हिंदू समुदाय से संबंधित होना अपराध है? क्या ‘मंगलसूत्र’ पहनना अपराध है?” दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) में नेता प्रतिपक्ष राजा इकबाल ने भी प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया. उन्होंने एमसीडी के स्कूलों में छात्रों के लिए वर्दी और किताबें खरीदने के लिए धन के वितरण में देरी के लिए आम आदमी पार्टी की सरकार की आलोचना की. उन्होंने आप पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया और कहा कि वह शहर में प्रभावी शासन चलाने में विफल रही है.

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