अमेरिकी सांसदों ने भारत-अमेरिका रणनीतिक साझेदारी को मान्यता देने वाला द्विदलीय प्रस्ताव पेश किया

न्यूयॉर्क/वाशिंगटन. अमेरिका के दो सांसदों ने अमेरिका और भारत के बीच रणनीतिक साझेदारी को मान्यता देते हुए एक द्विदलीय प्रस्ताव पेश किया है. इस प्रस्ताव में अमेरिकी ऊर्जा संसाधनों की खरीद ब­ढ़ाने के लिए भारत की सराहना की गई है और आतंकवाद-निरोध जैसी चुनौतियों का सामना करने के लिए निरंतर द्विपक्षीय सहयोग को रेखांकित किया गया है.

कैलिफोर्निया से हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव में डेमोक्रेटिक सदस्य एमी बेरा और दक्षिण कैरोलिना के रिपब्लिकन सांसद जो विल्सन ने ”अमेरिका और भारत के बीच ऐतिहासिक साझेदारी के रणनीतिक मूल्य को मान्यता देते हुए” द्विदलीय प्रस्ताव पेश किया. बेरी कांग्रेस में सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले भारतीय अमेरिकी सदस्य हैं. सोमवार को पेश किया गया प्रस्ताव विश्व के दो सबसे बड़े लोकतंत्रों के बीच रक्षा, प्रौद्योगिकी, व्यापार, आतंकवाद निरोध और शिक्षा सहित महत्वपूर्ण क्षेत्रों में दशकों से ब­ढ़ते सहयोग को रेखांकित करता है. इसमें क्षेत्रीय स्थिरता, आर्थिक विकास और स्वतंत्र एवं मुक्त हिंद-प्रशांत को ब­ढ़ावा देने में भारत की महत्वपूर्ण भूमिका को भी रेखांकित किया गया है.

इसमें कहा गया है, ”तीन दशक से अधिक समय से, राष्ट्रपति क्लिंटन, बुश, ओबामा, ट्रंप और बाइडन के प्रशासन के तहत भारत के साथ रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करना अमेरिका की नीति रही है, जिसमें क्षेत्रीय स्थिरता, लोकतांत्रिक शासन, आर्थिक विकास और साझा क्षेत्रीय प्राथमिकताओं के लिए इसके महत्व को मान्यता दी गई है.” प्रस्ताव में मुंबई आतंकवादी हमलों का उल्लेख किया गया है, जिसमें ”भारत और अमेरिका दोनों के नागरिकों सहित 166 व्यक्तियों की मौत हो गई थी” और साथ ही 22 अप्रैल के पहलगाम आतंकवादी हमले का भी उल्लेख किया गया है, जिसमें 26 नागरिक मारे गए और दर्जनों अन्य घायल हो गए थे. पहलगाम हमले की द रेजिस्टेंस फ्रंट (लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा संगठन) ने जिम्मेदारी ली थी.

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