भारत हम जोड़ रहे हैं, ‘दरबारियों’ कांग्रेस जोड़ो: आजाद के इस्तीफे पर भाजपा का तंज

नयी दिल्ली. कांग्रेस से वरिष्ठ नेता व राज्यसभा के पूर्व नेता प्रतिपक्ष गुलाम नबी आजाद के इस्तीफे पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने देश की प्रमुख विपक्षी पार्टी पर तंज कसते हुए कहा कि ‘‘भारत जोड़ने’’ का काम वह कर रही है इसलिए उसके (कांग्रेस के) ‘‘दरबारियों’’ को ‘‘कांग्रेस जोड़ो’’ अभियान चलाना चाहिए. ज्ञात हो कि आजाद ने शुक्रवार को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता समेत सभी पदों से इस्तीफा दे दिया.

पहले से ही संकट में घिरी कांग्रेस को आजाद के इस्तीफे से एक और झटका लगा है. इससे पहले भी कई नेता पार्टी छोड़ चुके हैं. पार्टी में बदलाव की मांग करने वाले जी-23 समूह में शामिल आजाद ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को भेजे पांच पृष्ठ के त्यागपत्र के अंतिम पृष्ठ पर अन्य बातों के साथ यह भी कहा कि पार्टी नेतृत्व को ‘‘भारत जोड़ो’’ यात्रा निकालने से पहले ‘‘कांग्रेस जोड़ो’’ की कवायद करनी चाहिए थी.

भाजपा ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर आजाद के पत्र के पांचवें पृष्ठ को साझा किया और ‘‘कांग्रेस जोड़ो’’ के सुझाव वाले हिस्से को रेखांकित करते हुए कहा, ‘‘देश हम जोड़ रहे हैं, आप कांग्रेस जोड़ो ‘दरबारियों’.’’ आजाद से पूर्व, कांग्रेस छोड़ चुके कई नेता पहले से ही आरोप लगा चुके हैं कि कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व ‘‘दरबारियों’’ से घिरा हुआ है.

भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने एक ट्वीट कर कांग्रेस नेतृत्व पर निशाना साधा और आरोप लगाया कि ‘‘कांग्रेस दरबार’’ ऐसे किसी भी व्यक्ति को बर्दाश्त नहीं कर सकता जो आजाद हो, वह सिर्फ गुलाम चाहता है. उन्होंने कहा, ‘‘पांच साल पहले मैंने कहा था-कांग्रेस शुद्ध रूप से परिवार है और वह कामकाजी प्रदर्शन से ऊपर है, वहां आंतरिक लोकतंत्र नहीं है, कोई जवाबदेही नहीं है और वहां चापलूसी को प्रतिभा से अधिक वरीयता दी जाती है.’’ उन्होंने कहा, ‘‘आज मैं एक बार फिर सही साबित हुआ हूं.’’

आजाद ने मजबूरी में दिया इस्तीफा, कांग्रेस डूबा हुआ जहाज: जम्मू एवं कश्मीर भाजपा अध्यक्ष

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की जम्मू एवं कश्मीर इकाई के अध्यक्ष रवींद्र रैना ने शुक्रवार को दावा किया कि वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद को मजबूर होकर कांग्रेस से इस्तीफा देना पड़ा क्योंकि पार्टी में उनका अपमान हो रहा था. उन्होंने पत्रकारों से चर्चा में कांग्रेस को डूबा हुआ जहाज बताया और कहा, ‘‘आजाद का इस्तीफा दर्शाता है कि कांग्रेस में आंतरिक लोकतंत्र नहीं है और यह एक रिमोट कंट्रोल से नियंत्रित होती है. यह इस सच्चाई को भी स्थापित करता है कि कांग्रेस सिर्फ एक परिवार की ंिचता करती है और वहां दूसरों के लिए कोई स्थान नहीं है.’’

आजाद ने करीब पांच दशकों के बाद शुक्रवार को यह दावा करते हुए पार्टी को अलविदा कह दिया कि देश का सबसे पुराना दल अब ‘समग्र रूप से नष्ट हो चुका है’ तथा नेतृत्व आतंरिक चुनाव के नाम पर ‘धोखा दे रहा है.’ रैना ने कहा कि आजाद ने दशकों तक कांग्रेस की सेवा की और उसके लिए ‘‘खून व पसीना बहाया’’.

उन्होंने कहा, ‘‘उन्हें इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया गया क्योंकि कांग्रेस में उनका अपमान हो रहा था.’’ भाजपा नेता ने कहा कि कांग्रेस पहले से ही ‘‘डूबता जहाज’’ थी लेकिन आजाद के इस्तीफे के बाद अब वह डूबा हुआ जहाज है. पिछले साल फरवरी महीने में आजाद जब राज्यसभा से सेवानिवृत्त हो रहे थे तब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने विदाई भाषण में उनके साथ अपने निकट संबंधों को याद किया था और उस वक्त वह बेहद भावुक भी हो गए थे.

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