
नयी दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को स्पष्ट संदेश दिया कि उनकी सरकार के तीसरे कार्यकाल में प्राथमिकता लोगों की जिंदगी को आसान बनाना है. उन्होंने कहा कि कानून या नियम आम लोगों की सुविधा के लिए होने चाहिए और उनकी वजह से किसी निर्दोष भारतीय को असुविधा नहीं होनी चाहिए.
यहां राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) संसदीय दल की बैठक को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि देश अब पूरी तरह ‘‘रिफॉर्म एक्सप्रेस’’ के दौर में है, जहां सुधार तेजी से और स्पष्ट मंशा के साथ किए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि सरकार के सुधार सिर्फ अर्थव्यवस्था या राजस्व पर केंद्रित नहीं है, ये पूरी तरह से नागरिक-केंद्रित हैं. प्रधानमंत्री ने इस बात पर बल दिया कि सरकार का लक्ष्य लोगों की रोजमर्रा की परेशानियां दूर करना है, ताकि वे अपनी पूरी क्षमता से आगे बढ़ सकें.
बैठक के बाद संवाददाताओं को जानकारी देते हुए केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रीजीजू ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने सांसदों को ‘‘बहुत अच्छे दिशानिर्देश’’ दिए और यह संदेश दिया कि उनकी सरकार के तीसरे कार्यकाल का सबसे बड़ा मुद्दा “रिफॉर्म एक्सप्रेस” है. इस बैठक में राजग के सभी सांसद शामिल हुए.
रीजीजू ने कहा, ‘‘मैं इस बात पर बल देना चाहता हूं कि नरेन्द्र मोदी सरकार की ‘रिफॉर्म एक्सप्रेस’ चल पड़ी है और अब यह रुकेगी नहीं. यह सुधार देश के हर नागरिक की जिंदगी बदलने के लिए है. जब हम सुधार की बात करते हैं तो कुछ लोग इसे आर्थिक सुधार समझते हैं, कुछ राजनीतिक, कुछ प्रशासनिक या सांस्कृतिक सुधार. लेकिन ‘सुधार’ का असली मतलब है-हर नागरिक के जीवन में बेहतरी है.”
उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री ने इस पर बल दिया कि जो भी कानून बनाया जाए, उसमें ऐसा कोई प्रावधान नहीं होना चाहिए जो किसी नागरिक के लिए नुकसानदेह हो या उसे परेशान करे. नियम और कानून आम लोगों के लिए बोझ नहीं होने चाहिए. सभी को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि नियम-कानून जनता की सुविधा के लिए हों और उनकी जिंदगी बेहतर बनाएं.’’ रीजीजू ने प्रधानमंत्री के हवाले से कहा कि नियम-कानून, व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए होने चाहिए, लोगों को परेशान करने के लिए नहीं और कोई भी कानून ऐसा नहीं होना चाहिए जो बिना किसी वजह लोगों के लिए परेशान खड़ी करे.
उन्होंने कहा, “अब हम इसी दिशा में काम करेंगे. केंद्र सरकार, राज्य सरकारें और नगरपालिकाओं व पंचायतों जैसी स्थानीय स्वशासी संस्थाओं, सभी को इसी दिशा में काम करना चाहिए…ङ्घ.” सूत्रों के मुताबिक, मोदी ने सांसदों से कहा कि वे आम लोगों की वास्तविक समस्याएं नियमित रूप से साझा करें, ताकि ‘‘रिफॉर्म एक्सप्रेस’’ हर घर तक पहुंच सके और लोगों की रोजमर्रा की परेशानियां दूर हो सकें.
सूत्रों के अनुसार, मोदी ने यह भी कहा कि वह 30-40 पन्नों वाले फॉर्म और बेवजह की कागजी कार्रवाई की संस्कृति खत्म करना चाहते हैं. उन्होंने इस बात पर बल दिया कि नागरिकों को सेवाएं उनके घर के द्वार पर मिलनी चाहिए और बार-बार एक ही जानकारी जमा कराने की व्यवस्था को पूरी तरह खत्म करने की जरूरत है. प्रधानमंत्री ने याद दिलाया कि सरकार ने लोगों पर भरोसा दिखाते हुए स्व-प्रमाणन की सुविधा दी थी, और पिछले 10 वर्षों में इसका कोई दुरुपयोग नहीं हुआ है, यह व्यवस्था बिल्कुल सफल साबित हुई है. सूत्रों के मुताबिक, मोदी ने यह भी रेखांकित किया कि जीवन सुगमता और कारोबार सुगमता दोनों ही उनकी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकताएं हैं.
बैठक की शुरुआत में मोदी को हाल में संपन्न बिहार चुनावों में राजग की शानदार जीत के लिए बधाई दी गई. संसद भवन परिसर में आयोजित राजग संसदीय दल की बैठक में केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, अमित शाह और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष जे. पी. नड्डा मौजूद रहे. जनता दल-यूनाइटेड (जद-यू) नेता संजय झा और राष्ट्रीय लोक मोर्चा (रालोमो) प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा ने प्रधानमंत्री को माला पहनाकर बधाई दी. सोमवार को बिहार के राजग नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने मोदी से मुलाकात की थी और राज्य विधानसभा चुनावों में गठबंधन की शानदार जीत के लिए उन्हें बधाई दी थी.
बैठक के दौरान प्रधानमंत्री ने राजग सांसदों से कहा कि बिहार विधानसभा चुनावों में सत्तारूढ़ गठबंधन की बड़ी जीत के बाद जनता के कल्याण के लिए और अधिक जोश के साथ काम करना होगा. उन्होंने कहा, “बड़ी जीत के साथ बड़ी जिम्मेदारी भी आती है.” पिछले माह हुए 243 सदस्यीय बिहार विधानसभा चुनावों में राजग ने 202 सीट हासिल कीं, जिससे जद(यू) प्रमुख नीतीश कुमार के 10वीं बार मुख्यमंत्री बनने का रास्ता साफ हो गया. गठबंधन सहयोगियों में भाजपा ने 89, जद(यू) ने 85, लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) ने 19, हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (सेक्युलर) ने पांच और रालोमो ने चार सीट जीतीं.



