ब्रिटेन के प्रधानमंत्री सुनक ने इजराइल के खिलाफ ईरान के हमले की निंदा की, लड़ाकू विमान तैनात किये

संरा, अमेरिका ने इजराइल पर ईरान के हमले की निंदा की, बाइडन जी-7 देश के नेताओं के साथ करेंगे बैठक

लंदन/वाशिंगटन. ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने इजराइल के खिलाफ ईरान के हमले की निंदा करते हुए इसे गैर जिम्मेदाराना कृत्य करार दिया तथा शनिवार रात एवं रविवार को ईरान द्वारा दर्जनों ड्रोन और क्रूज मिसाइल दागे जाने के बाद क्षेत्र की सुरक्षा के लिए सहयोग करने का भी संकल्प लिया.

ब्रिटेन के रक्षा मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि ईरान के ड्रोन हमले को रोकने में मदद करने के लिए रॉयल एयर फोर्स के कई अतिरिक्त लड़ाकू विमानों को क्षेत्र में भेजा गया है. विमान और हवा में ईंधन भरने वाले टैंकरों को क्षेत्र में आतंकवादी समूह इस्लामिक स्टेट (आईएसआईएस) के खिलाफ ब्रिटेन के ‘ऑपरेशन शेडर’ के तहत तैनात किया जा रहा है.

सुनक ने प्रधानमंत्री आवास-सह-कार्यालय ’10 डाउनिंग स्ट्रीट’ से जारी एक बयान में कहा, ”इजराइल के खिलाफ किये गए ईरान के गैर जिम्मेदाराना हमले की मैं कड़े शब्दों में निंदा करता हूं.” उन्होंने कहा, ”अपने सहयोगियों के साथ, हम स्थिति को स्थिर करने और तनाव को बढ़ने से रोकने के लिए तत्काल काम कर रहे हैं. कोई भी इससे अधिक रक्तपात नहीं देखना चाहता.” इजराइली सेना ने कहा कि उसने अमेरिका सहित अन्य देशों की मदद से अधिकांश हमलों को रोक दिया.

संरा, अमेरिका ने इजराइल पर ईरान के हमले की निंदा की, बाइडन जी-7 देश के नेताओं के साथ करेंगे बैठक

अमेरिका, कनाडा, संयुक्त राष्ट्र, जर्मनी आदि देशों ने इजराइल पर ईरान के हवाई हमले की निंदा की है. अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने यहूदी राष्ट्र इजराइल के प्रति अमेरिका की ‘दृढ़ प्रतिबद्धता’ दोहरायी और हालात पर विचार विमर्श तथा आगे की कार्रवाई के लिए जी-7 देशों के नेताओं की एक बैठक बुलाने की बात कही.

बाइडन ने कहा, ”हमने लगभग सभी ड्रोन और मिसाइल को मार गिराने में इजराइल की मदद की.” बाइडन ने इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से शनिवार को फोन पर बात की. उन्होंने कहा, ”ईरान तथा यमन, सीरिया एवं इराक के उसके हमदर्दों ने आज इजराइल में सैन्य प्रतिष्ठानों को निशाना बनाते हुए अप्रत्याशित हमला किया. मैं इन हमलों की कड़े शब्दों में निंदा करता हूं.”

ईरान के ‘इस्लामिक रेवोल्यूशन गार्ड कॉर्प्स’ (आईआरजीसी) ने कहा कि हमला ”खास ठिकानों” को निशाना बनाकर किया गया था.
सीरिया में एक अप्रैल को हवाई हमले में ईरानी वाणिज्य दूतावास में एक शीर्ष कमांडर सहित आईआरजीसी के सात अधिकारियों के मारे जाने के बाद ईरान ने बदला लेने का प्रण लिया था. ईरान ने इस हमले के पीछे इजराइल का हाथ होने का आरोप लगाया था. हालांकि इजराइल ने इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी थी.

नेतन्याहू ने ईरानी हमले के बाद कैबिनेट की बैठक बुलाई और बाद में अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन से बात की. नेतन्याहू ने कहा कि बाइडन ने ”इजराइल की सुरक्षा के प्रति अमेरिका की प्रतिबद्धता” दोहराई है. बाइडन ने कहा कि इजराइल की मदद करने के उनके निर्देश पर अमेरिकी सेना ने पिछले सप्ताह क्षेत्र में विमान और बैलेस्टिक मिसाइल रक्षा विध्वंसक भेजे थे.

उन्होंने कहा, ”मेरी टीम पूरे क्षेत्र में अपने समकक्षों के साथ बातचीत करेगी और हम इजराइल के नेता के साथ संपर्क में रहेंगे. हालांकि हमने आज अपनी सेनाओं या प्रतिष्ठानों पर हमले नहीं देखे हैं, लेकिन हम सभी खतरों के प्रति सतर्क रहेंगे और हमारे लोगों की सुरक्षा के लिए सभी आवश्यक कार्रवाई करने में संकोच नहीं करेंगे.” विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि अमेरिका इजराइल पर ईरान के हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता है.

न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने हमले की निंदा की. उन्होंने कहा, ”मैं इस शत्रुता को तत्काल समाप्त करने का आग्रह करता हूं.” उन्होंने कहा, ”क्षेत्र में विनाशकारी हमले से जुड़े वास्तविक खतरे को लेकर मैं बेहद चिंतित हूं. मैं सभी पक्षों से किसी भी ऐसी कार्रवाई से बचने के लिए अधिकतम संयम बरतने का आग्रह करता हूं जो पश्चिम एशिया में कई मोर्चों पर बड़े सैन्य टकराव का कारण बन सकता है.” संयुक्त राष्ट्र महासभा के डेनिस फ्रांसिस ने पश्चिम एशिया में हालत पर गहरी चिंता व्यक्त की. उन्होंने कहा, ”ईरान ने दमिश्क में ईरानी दूतावास पर हाल के हमले के बाद इजराइल पर हमले को संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के संदर्भ में अपनी कार्रवाई बताया है. ईरान के इस कदम ने पश्चिम एशिया में पहले से ही तनावपूर्ण और नाजुक शांति एवं सुरक्षा की स्थिति को और खराब कर दिया है.”

कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने इजराइल के खिलाफ ईरान के हवाई हमलों की स्पष्ट रूप से निंदा की. उन्होंने कहा, ”हम इजराइल के साथ हैं. हमास के सात अक्टूबर के हमले का समर्थन करने के बाद ईरानी शासन का यह कदम इस क्षेत्र को और अस्थिर कर देगा.” इस बीच अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने कहा कि अमेरिकी सेना क्षेत्र में अपने सैनिकों और भागीदारों की रक्षा करने, इजराइल की रक्षा के लिए और अधिक सहायता प्रदान करने और क्षेत्रीय स्थिरता को बढ़ाने के लिए तत्पर है. ऑस्टिन ने कहा कि वह स्थिति पर करीब से नजर रखना और अमेरिकी सहयोगियों और साझेदारों के साथ परामर्श करना जारी रखेंगे. उन्होंने इजराइल के रक्षा मंत्री योव गैलेंट से भी बात की और इजराइल की रक्षा के लिए अमेरिका का समर्थन दोहराया.

Related Articles

Back to top button