संसद में गतिरोध को लेकर विपक्ष पर बरसे जोशी, कांग्रेस पर ‘चीन के हाथों जमीन गंवाने’ का आरोप लगाया
नयी दिल्ली. संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने चीन के साथ सीमा पर तनाव के विषय पर चर्चा की मांग को लेकर संसद में चल रहे गतिरोध का हवाला देते हुए बृहस्पतिवार को विपक्ष पर तीखा प्रहार किया और आरोप लगाया कि कांग्रेस के समय ‘भारत की जमीन के चीन के हाथों गंवा दी गई’.
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘राज्यसभा के सभापति ने विपक्ष से हाथ जोड़कर आग्रह किया था. उन्होंने नेता प्रतिपक्ष और सदन में अन्य दलों के नेताओं से आग्रह किया कि वे बातचीत करें. उनके आग्रह को ठुकरा दिया गया.’’ जोशी के अनुसार, संसद में गतिरोध खत्म करने का प्रयास करते हुए सभापति जगदीप धनखड़ ने सुझाव दिया था कि सदन में मुद्दे उठाने के संदर्भ में चर्चा के लिए उनके कक्ष में बैठक हो, लेकिन विपक्षी दलों ने इसे भी खारिज कर दिया.
उन्होंने कहा, ‘‘ (सत्ता में रहते हुए) चीन के हाथों जमीन गंवाने के बावजूद कांग्रेस आसन का सम्मान नहीं कर रही है. मैं उनसे अपील करता हूं कि वे अपने व्यवहार को बदलें.’’ जोशी का कहना था, ‘‘लोगों ने नरेंद्र मोदी सरकार को जनादेश दिया है और उसका सम्मान होना चाहिए. लोकसभा अध्यक्ष और राज्यसभा के सभापति दोनों ने सदस्यों से सदन के भीतर मास्क पहनकर आने का आग्रह किया था, लेकिन नेता प्रतिपक्ष (खरगे) ने ही मास्क नहीं पहना. यह उनका रवैया दिखाता है. हमें तो यहां उदाहरण प्रस्तुत करना चाहिए.’’
विपक्षी दल सात दिसंबर से आरंभ हुए संसद के शीतकालीन सत्र में चीन के मुद्दे पर चर्चा की मांग लगातार कर रहे हैं. दोनों सदनों में कई सांसदों ने इस विषय पर कार्यस्थगन प्रस्ताव के नोटिस भी दिए हैं.