लोकसभा चुनाव: ओडिशा की रेशम नगरी में दो दलबदलू नेता होंगे आमने-सामने

बरहामपुर: ओडिशा की रेशम नगरी बरहामपुर में इस लोकसभा चुनाव के दौरान दो ऐसे नेता आमने-सामने होंगे जो अपनी पुरानी पार्टी छोड़कर किसी और दल में शामिल हो गए हैं। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के नेतृत्व वाले सत्तारूढ़ बीजू जनता दल (बीजद) ने भृगु बक्शीपात्रा को बरहामपुर सीट से चुनावी मैदान में उतारा है, जो पिछले सप्ताह तक भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की ओडिशा इकाई के उपाध्यक्ष थे।

भाजपा ने बीजद से निष्कासित प्रदीप पाणिग्रही को बरहामपुर लोकसभा क्षेत्र से अपना उम्मीदवार बनाया है। गोपालपुर विधानसभा क्षेत्र से तीन बार के विधायक पाणिग्रही एक समय मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के करीबी सहयोगी थे और बीजद से निष्कासित होने से पहले वह क्षेत्रीय पार्टी के गंजाम जिले के मामलों को भी देखते थें कांग्रेस ने बरहामपुर लोकसभा क्षेत्र से रश्मि रंजन पटनायक को मैदान में उतारा है।

बरहामपुर लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र कभी कांग्रेस का मजबूत गढ़ था और यहां तक कि प्रधानमंत्री पी वी नरसिम्हा राव ने भी 1996 के आम चुनावों में बरहामपुर लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा था और जीता था। गंजाम जिला 2009 से बीजद का गढ़ रहा है। बीजद ने 2019 के चुनाव में जिले की 13 विधानसभा सीटों में से 12 पर जीत हासिल की थी।

बरहामपुर लोकसभा सीट के लिए लड़ाई मुख्य रूप से बक्शीपात्रा और पाणिग्रही के बीच होगी। हालांकि कांग्रेस उम्मीदवार भी मैदान में हैं। पाणिग्रही को ‘‘जनविरोधी गतिविधियों’’ के आरोप में बीजद से निष्कासित कर दिया गया था और नवीन पटनायक सरकार ने कथित भ्रष्टाचार के मामलों में उन्हें गिरफ्तार भी कराया था।

भाजपा प्रत्याशी एवं गोपालपुर से विधायक पाणिग्रही अपनी जनसभाओं में लोगों से पटनायक के प्रति अपना झुकाव खत्म करने की अपील कर रहे हैं। बीजद ने पाणिग्रही को हराने के लिए भाजपा के एक निश्चित वोट पर कब्जा करने के एकमात्र इरादे से बक्शीपात्रा को चुना है। दक्षिणी ओडिशा का प्रवेश द्वार मानी जाने वाली बरहामपुर लोकसभा सीट जीतने के लिए दोनों दल पूरी कोशिश कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के करीबी सहयोगी और बीजद नेता वी के पांडियन ने रविवार को भुवनेश्वर में एक सभा में लोगों से उनकी पार्टी को वोट देने की अपील की। पांडियन ने लोगों से कहा, ‘‘कृपया यह न देखें कि उम्मीदवार कौन है। मुख्यमंत्री सभी 147 विधानसभा सीट और 21 लोकसभा क्षेत्रों में चुनाव लड़ रहे हैं।’’

इससे पहले, 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजद उम्मीदवार चंद्रशेखर साहू ने भाजपा उम्मीदवार एवं अपने प्रतिद्वंद्वी भृगु बक्शीपात्रा को हराकर बरहामपुर लोकसभा सीट पर 94,000 वोट के अंतर से जीत हासिल की थी।मतदाताओं के अलावा, जमीनी स्तर पर काम कर रहे दोनों राजनीतिक दलों के कार्यकर्ता भी असमंजस में नजर आ रहे हैं।

गंजाम जिले में बीजद के एक कार्यकर्ता ने कहा, ‘‘हमें उस उम्मीदवार के लिए प्रचार करना है जिसका हमने पिछली बार (2019 लोकसभा चुनाव में) कड़ा विरोध किया था।’’ बरहामपुर लोकसभा सीट के अंतर्गत सात विधानसभा क्षेत्र हैं जिनमें गंजाम जिले की पांच और पड़ोसी गजपति जिले की दो सीट शामिल हैं।

इनमें से गंजाम जिले की पांचों सीट पर सत्तारूढ़ बीजद का कब्जा है, जबकि कांग्रेस और भाजपा गजपति जिले की एक-एक विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व करती हैं। बरहामपुर लोकसभा सीट के लिए तीन अन्य लोकसभा क्षेत्रों नबरंगपुर, कोरापुट और कालाहांडी के साथ 13 मई को मतदान होगा।

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