मलयालम फिल्म निर्देशक रंजीत और अभिनेता सिद्दीक ने दुर्व्यवहार के आरोपों के बाद पद से दिया इस्तीफा

तिरुवनंतपुरम/कोच्चि. न्यायमूर्ति के. हेमा समिति की रिपोर्ट में महिलाओं का उत्पीड़न और उनके साथ दुर्व्यवहार के संबंध में किए गए चौंकाने वाले खुलासे से मची हलचल के बाद मलयालम सिनेमा के दो जानेमाने लोगों ने उच्च पदों से रविवार को इस्तीफा दे दिया.
जाने माने अभिनेता सिद्दीक ने एक अभिनेत्री द्वारा यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए जाने के बाद रविवार को ‘एसोसिएशन ऑफ मलयालम मूवी आर्ट्ट्सिस’ (एएमएमए) के महासचिव पद से इस्तीफा दे दिया. वहीं, मलायलम फिल्म निर्माता रंजीत ने एक अभिनेत्री से दुर्व्यवहार के उसके आरोपों को लेकर केरल चलचित्र अकादमी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया. मलयालम सिनेमा के लोग ही सिद्दीक के इस्तीफे की मांग कर रहे थे.

बांग्ला फिल्म में काम करने वाली एक अभिनेत्री ने कई साल पहले प्रसिद्ध फिल्म निर्माता रंजीत पर उनके साथ दुर्व्यवहार करने का आरोप लगाया था, जिसके बाद रंजीत की आलोचनाएं की गई थीं, लेकिन हेमा समिति की रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद यह मामला सुर्खियों में आया. एक अभिनेत्री ने 24 अगस्त को अभिनेता सिद्दीक पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था.

रंजीत ने केरल सरकार द्वारा संचालित केरल चलचित्र अकादमी के प्रमुख पद से रविवार को इस्तीफा दे दिया और एक टेलीविजन चैनल को भेजे ऑडियो क्लिप के माध्यम से इसकी जानकारी दी. विपक्षी कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रंजीत का कड़ा विरोध जताते हुए उनके इस्तीफे की मांग की थी, जिसके कारण फिल्म निर्माता को पद छोड़ना पड़ा. रंजीत ने कहा कि अब वह इस पद पर नहीं बने रहना चाहते हैं क्योंकि इससे राज्य की वामपंथी सरकार की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचेगा. उन्होंने यह भी कहा कि वह अपने खिलाफ लगे आरोपों का कानूनी तरीके से मुकाबला करेंगे.

टीवी चैनल को भेजे गए ऑडियो क्लिप में उन्हें यह कहते हुए सुना गया, ”जब से मैंने अकादमी के अध्यक्ष का पदभार संभाला है तभी से एक खास वर्ग के लोग मुझे निशाना बना रहे हैं. मुझे समाज के सामने यह साबित करना है कि आरोप झूठे हैं. मैंने कानूनी रास्ता अपनाने और सच्चाई सामने लाने का फैसला किया है.” रंजीत ने कहा, “मीडिया समेत कई लोग सच्चाई को समझे बिना मेरी आलोचना कर रहे हैं. इन्हीं सब कारणों के मद्देनजर मैंने पद से इस्तीफा देने का फैसला किया है.”

अभिनेत्री ने आरोप लगाया था कि जब वह रंजीत के निर्देशन में बनाई जा रही एक फिल्म की शूटिंग करने के लिए आई थीं तो फिल्मकार ने उनके साथ अनुचित व्यवहार किया था. हालांकि रंजीत ने अभिनेत्री के इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया और कहा कि वह खुद इस मामले में ‘असली पीड़ित’ हैं.

रंजीत द्वारा इस्तीफा दिए जाने का ऐलान किए जाने के बाद केरल के सांस्कृतिक मामलों के मंत्री साजी चेरियन ने तिरुवनंतपुरम में संवाददाताओं से कहा कि सरकार फिल्म निर्माता का इस्तीफा भेजते ही उसे स्वीकार कर लेगी. मंत्री ने कहा कि वामपंथी सरकार यौन उत्पीड़न और दुर्व्यवहार से संबंधित मुद्दों पर हमेशा पीड़ितों के साथ खड़ी रही है. साथ ही उन्होंने उन आरोपों को भी खारिज कर दिया जिनमें मंत्री पर रंजीत को बचाने का आरोप लगाया गया था.

मंत्री साजी चेरियन ने कहा, ”मैंने हमेशा सभी मुद्दों पर महिलाओं के पक्ष में कड़ा रुख अपनाया है. इस मामले में भी वामपंथी सरकार का रुख बिल्कुल स्पष्ट है. हम ऐसे मामलों में हमेशा पीड़ितों के साथ हैं. गलत काम करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.” अभिनेता सिद्दीक ने कहा कि उन्होंने एएमएमए के अध्यक्ष और अभिनेता मोहनलाल को अपना त्यागपत्र भेज दिया है. सिद्दीक ने कहा, ”चूंकि मेरे खिलाफ आरोप लगे हैं इसलिए मैंने पद पर नहीं बने रहने का फैसला करते हुए पद से इस्तीफा दे दिया.” एक अभिनेत्री ने शनिवार को आरोप लगाया था कि सिद्दीक ने उन्हें एक फिल्म पर बातचीत करने के लिए बुलाने के बाद उनका यौन उत्पीड़न किया.

इस बीच एएमएमए के अनेक सदस्यों ने आरोपों के मद्देनजर महासचिव पद छोड़ने के सिद्दीक के फैसले का स्वागत किया.
एएमएमए के उपाध्यक्ष जयन चेरथला ने कहा कि सिद्दीक के खिलाफ इतने गंभीर आरोप सामने आने के बाद उनका पद पर रहना उचित नहीं था. प्रसिद्ध अभिनेता अनूप चंद्रन ने कहा कि उन्होंने सुबह ही एएमएमए अध्यक्ष मोहनलाल को ईमेल करके सिद्दीक के इस्तीफे की जरूरत बताई थी.

चंद्रन ने पत्रकारों से कहा, ”इतने गंभीर आरोपों का सामना कर रहे किसी व्यक्ति का पद पर बने रहना दरअसल पूरी संस्था का अपमान है. इसलिए मैंने ईमेल में कहा कि यदि सिद्दीकी खुद पद छोड़ने के लिए तैयार नहीं हैं तो कार्यकारी समिति को उन्हें हटाने के लिए तैयार रहना चाहिए. ” अभिनेत्री माला पार्वती ने कहा कि सिद्दीक का इस्तीफे का फैसला ”नैतिक रूप से सही” है.

उन्होंने कहा, ”यह उचित निर्णय है. अगर उस पीड़ित महिला ने समाज के सामने आने का साहस दिखाया और अपनी आपबीती सार्वजनिक रूप से बयां की, तो हमें उस दर्द और अपमान को समझना चाहिए जो उसने झेला है.” अभिनेत्री द्वारा लगाए गए गंभीर आरोपों के बाद रंजीत और केरल सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया गया और इसी कारण से फिल्म निर्माता को मजबूरन अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा.

भाजपा कार्यकर्ताओं ने आज सुबह कोझिकोड में रंजीत के आवास तक विरोध मार्च निकाला और उनके इस्तीफे की मांग की.
केरल सरकार द्वारा गठित न्यायमूर्ति हेमा समिति की रिपोर्ट में मलयालम सिनेमा जगत में महिलाओं के उत्पीड़न और शोषण के मामलों का खुलासा किया गया है, जिसके बाद दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जाने लगी है.

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