आजाद की पार्टी में प्रमुख पदाधिकारी रहे तारा चंद समेत 17 नेताओं की कांग्रेस में वापसी

नयी दिल्ली. पूर्व केंद्रीय मंत्री गुलाम नबी आजाद के नेतृत्व वाली डेमोक्रेटिक आजाद पार्टी (डीएपी) के 17 पूर्व नेता शुक्रवार को कांग्रेस में वापस आ गए जिनमें जम्मू-कश्मीर के पूर्व उप मुख्यमंत्री तारा चंद और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष पीराजादा मोहम्मद सईद शामिल हैं.

कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने इन नेताओं का पार्टी में स्वागत करते हुए कहा कि पार्टी का मानना है कि ये सभी नेता कांग्रेस छोड़कर नहीं गए थे, ‘‘बल्कि ये दो महीने के अवकाश पर थे और अब लौटे हैं.’’ वेणुगोपाल ने कहा, ‘‘भारत जोड़ो यात्रा के जम्मू कश्मीर में दाखिल होने से पहले हमारे कई नेता घर वापस आ रहे हैं. यह बहुत खुशी की बात है.’’ उन्होंने कहा कि राहुल गांधी की अगुवाई में चल रही यात्रा ने बड़े आंदोलन का रूप ले लिया है और जो लोग भी कांग्रेस की सोच और विचारधारा से सहमति रखते हैं वे इस यात्रा से जुड़ना चाहते हैं.

यह पूछे जाने पर कि क्या गुलाम नबी आजाद ने कांग्रेस में वापसी को लेकर प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से कोई संपर्क किया है तो वेणुगोपाल ने कहा कि आजाद ने इससे खुद इनकार किया है. कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के जम्मू-कश्मीर में दाखिल होने से पहले ये नेता कांग्रेस में वापस आए हैं तथा आने वाले समय में और लोग भी कांग्रेस में आएंगे.

कांग्रेस की जम्मू-कश्मीर मामलों की प्रभारी रजनी पाटिल ने कहा, ‘‘आजाद की डीएपी में एक बड़ा भूचाल आया है. ये नेता आज वापस कांग्रेस में आए हैं. सुबह का भूला अगर शाम को लौट आए तो उसे भूला नहीं कहते. इन नेताओं की वापसी से जम्मू-कश्मीर में बड़ा बदलाव आएगा.’’ तारा चंद और सईद के अलावा डीएपी में पदाधिकारी रहे ठाकुर बलवान ंिसह, मोहम्मद मुजफ्फर परे, मोंिहदर भारद्वाज, भूषण डोगरा, विनोद शर्मा, नरेंद्र शर्मा, नरेश शर्मा, अम्बरीश मगोत्रा, सुभाष भगत, संतोष मन्हास, बद्रीनाथ शर्मा, वरूण मगोत्रा, अनुराधा शर्मा, विजय तारगोत्रा और चंद्रप्रभा शर्मा ने कांग्रेस में वापसी की है.

कांग्रेस में वापसी करने वाले कुछ नेताओं को डीएपी से हाल ही में निष्कासित किया गया था तो कई नेताओं ने आजाद की पार्टी खुद छोड़ी है. पूर्व उप मुख्यमंत्री तारा चंद ने गांधी परिवार और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे का आभार जताते हुए कहा, ‘‘हमारी पूरी उम्र कांग्रेस में बीती. हमने जज्बाती होकर और (आजाद से) दोस्ती के चलते गलत कदम उठा लिया था. कांग्रेस छोड़ना हमारी ंिजदगी की सबसे बड़ी भूल थी.’’ पीरजादा मोहम्मद सईद ने कहा, ‘‘मुझसे बहुत बड़ी भूल हो गई थी. जज्बात में बह गया था. मैं कांग्रेस छोड़ने के लिए अपनी इस पार्टी और कश्मीर एवं देश के लोगों से माफी मांगता हूं.’’ गुलाम नबी आजाद ने पिछले साल अगस्त में कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था और फिर डीएपी की स्थापना की थी. पार्टी गठित होने कुछ हफ्ते बाद ही इसमें कलह शुरू हो गई. पिछले दिनों तारा चंद और कुछ अन्य नेताओं को डीएपी से निष्कासित कर दिया गया था.

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